दिल्ली में भी पहुंची कैप्टन संजय के सामाजिक सरोकारों की गूंज
-नामी संस्था कॉउंसिल ऑफ रॉयल रूट्स ने पराशर को नेशनल पॉजीटिविटी अवार्ड से नवाजा
डाडासीबा- सतीश शर्मा
समाज हित में पिछले लंबे समय से अतुलनीय, अनुकरणीय व अमूल्य योगदान दे रहे कैप्टन संजय के सकारात्मक कार्यों की गूंज देश की राजधानी नई दिल्ली तक भी पहुंच गई है। उन्हें प्रतिष्ठित नेशनल पॉजीटिविटी अवार्ड से नवाजा गया है। दिल्ली में आयोजित समारोह में यह सम्मान पराशर को देश की नामी संस्था कॉउसिंल ऑफ रॉयल रूट्स ने प्रदान किया है। यह संस्था सामाजिक सरोकारों में बड़ी भूमिका निभाने वाले चेहरों को पुरस्कृत करती है। हिमाचल प्रदेश से संजय पहले ऐसे व्यक्ति हैं, जिन्हें यह सम्मान दिया गया है। शनिवार को दिल्ली के डा. अम्बेदकर नेशनल सेंटर, जनपथ में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के सदस्य और पूर्व विदेश सलाहकार ज्ञानेश्वर मुले ने यह पुरस्कार भेंट किया
दरअसल पराशर पिछले कई वर्षों से सामाजिक उत्थान के लिए कार्य करते रहे हैं अौर समाज के उपेक्षित वर्ग के हित में योगदान दे रहे हैं। विभिन्न प्रकार के छह सौ से ज्यादा मामलों में वह 2500 से ज्यादा समुद्री नाविकों की समस्याओं का सफल समाधान कर चुके हैं या विदेश में फंसे नाविकों को सुरक्षित वतन वापसी करवा चुके हैं। तो महाराष्ट्र में रहते हुए पराशर ने सदैव अाम आदमी के मुद्दों को उठाया। हिमाचल प्रदेश में कोरोना की दूसरी लहर में संजय एक महायोद्धा की तरह नजर आए और करोड़ों रूपए की दवाईयां व मेडीकल उपकरण स्वास्थ्य विभाग व प्रशासन को खरीदकर दिए। उनके द्वारा आयात किए ऑक्सीजन कंस्ट्रेटर से कई जिदंगियों की सांसों की डोर बांधने में मदद मिली। इतना ही नहीं शिक्षा व रोजगार के क्षेत्र में भी संजय ने बहुत बड़ा काम किया है और अब तक प्रदेश के 382 युवाओं को रोजगार भी दिया है। समय-समय पर मेडीकल कैंप लगाना, स्वास्थ्य संस्थानों, खेल मैदानों और धार्मिक स्थालों की दशा व दिशा सुधारने में भी कैप्टन संजय ने अपने संसाधनों का उपयोग किया है। इन्हीं प्रमुख सामाजिक सरोकारों को ध्यान में रखते हुए कॉउंसिल ऑफ रॉयल रूट्स ने पराशर का चयन नेशनल पॉजिटिविटी के लिए चयन किया। इस मौके पर ज्ञानेश्वर मुले ने कहा कि कैप्टन संजय जैसे व्यक्तित्व की राष्ट व समाज को सख्त आवश्यकता है। उनका कोरोनाकाल में समाज के लिए दिया गया योगदान बड़ा उदाहरण है कि कैसे विपदा काल में कोई अपने संसाधनों से गरीब व आम आदमी का सहारा बन सकता है। मुले ने कहा कि जब कोरोना की दूसरी लहर में हर तरफ भय व निराशा का माहौल व्याप्त हो गया, ठीक उसी समय पराशर मदद के साथ कोरोना संक्रमित मरीजों का हौसला बढ़ाने के लिए उनके घर-द्वार तक भी पहुंच गए। उनकी सकारात्मक सोच व कार्य के चलते ही इस सम्मान से नवाजा जा रहा है। वहीं, संस्था के संस्थापक सदस्य और प्रबंध निदेशक ऋषि कुमार ने भी कैप्टन संजय द्वारा निभाए जा रहे सामाजिक सरोकारों का जिक्र करते हुए कहा कि पराशर सदैव समाज हित की ही बात करते हैं। वह युवाओं के लिए प्रेरणास्त्रोत हैं। उन्हें इस अवार्ड से सम्मानित करने पर संस्था भी खुद को गौरवान्वित अनुभव कर रही है। अपरिहार्य कारणों से इस कार्यक्रम में नहीं पहुंच पाए संजय का यह अवार्ड उनकी कंपनी के अधिकारी आर शिवा कुमार ने प्राप्त किया।